‘दूसरे वेतनमान के बराबर ही है सातवां वेतनमान’
सातवां वेतनमान उपभोक्ता वस्तुओं की वास्तविक कीमत के आधार पर तय नहीं किया गया। यह आवासीय, सामाजिक दायित्वों तथा बच्चों की शिक्षा आदि के डॉ. एक्रायड फामूर्ले के आधार पर निर्धारित होना चाहिए। इसमें लेबर ब्यूरो द्वारा दी गई कुछ वस्तुओं की खुदरा कीमतें कुछ स्थानों पर मनगढ़ंत और अवास्तविक हैं। 9 जून को वेतन आयोग से हुई बैठक में स्टाफ साइड ने आपत्तियां बता दी थीं। इसमें वेतन बढ़ोतरी दूसरे वेतन आयोग के बराबर है। सरकार ने 10 फरवरी तक मांगें नहीं मानीं तो 7 मार्च से अनिश्चतकालीन हड़ताल की जाएगी। इसमें रेलवे, डाक, आयकर सहित अन्य केंद्रीय कर्मचारी शामिल होंगे। हड़ताल दुनिया की सबसे बड़ी हड़ताल होगी।
यह बात आयकर कर्मचारी महासंघ मप्र एवं छत्तीसगढ़ सर्कल के महासचिव यशवंत पुरोहित ने शुक्रवार को कही। वे रंगोली सभागृह में आयकर कर्मचारी महासंघ की ओर से आयोजित सम्मान समारोह में शामिल होने रतलाम आए थे। अध्यक्ष कैलाशचंद्र मीणा भी मौजूद थे। उन्होंने बताया बैंक, बीमा सहित अन्य सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों में हर पांच साल में वेतन संशोधन होता है। जबकि केंद्रीय कर्मचारियों का वेतन 10 साल में संशोधित होता है। अभी हाल ही में बैंक कर्मचारियों के वेतन में 15 फीसदी से ज्यादा बढ़ोतरी की गई है। केंद्रीय कर्मचारियों को जो सातवां वेतनमान दिया जा रहा है, वो अपमानजनक है। इसमें केवल 14 फीसदी की बढ़ोतरी की गई है। इससे कर्मचारी नाराज हैं। सभी कर्मचारी इसका विरोध कर रहे हैं।
कर्मचारी नेता आयकर कर्मचारी महासंघ एवं छत्तीसगढ़ सर्कल के अध्यक्ष कैलाश मीणा, महासचिव यशवंत पुरोहित एवं अतिरिक्त सचिव (उज्जैन प्रभार) शांतिलाल शर्मा का महासंघ ने सम्मान किया। आयकर महासंघ अध्यक्ष बीएल वर्मा, अमित वाजपेयी, नीरज निप्पू, मुकेश आशुदानी, राहुल कुमार, पी. के. जैन मौजूद थे। रतलाम संयुक्त ट्रेड यूनियन ने तीनों नेताओं का सम्मान किया। गोविंदलाल शर्मा, एच.एन. जोशी, अरविंद सोनी, आई.एल. पुरोहित, भरत राठौर, सूर्यकांत उपाध्याय, प्रदीप बारोठिया आदि मौजूद थे।
अब तक के वेतन आयोग में बढ़ा वेतनमान
- वेतन आयोग बढ़ोतरी
- दूसरा वेतन आयोग 14.2%
- तीसरा वेतन आयोग 20.6%
- चौथा वेतन आयोग 27.6%
- पांचवां वेतन आयोग 31 %
- छठा वेतन आयोग 54 %
- सातवां वेतन आयोग 14 % (प्रस्तावित)
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केंद्र ने 49 साल पहले की स्थिति में पहुंचा दिया
वेतन में 14 फीसदी इजाफे की सिफारिश से नाराज केंद्रीय कर्मचारियों के तेवर नरम नहीं पड़े हैं। नई दिल्ली में केबिनेट सचिव पीके सिन्हा को नया मांग पत्र सौंपकर इन कर्मचारियों ने हड़ताल करने के इरादे जाहिर कर दिए हैं। केंद्रीय कर्मचारियों के सबसे बड़े संगठन नेशनल ज्वाइंट काउंसिल ऑफ एक्शन का तर्क है कि सरकार ने उन्हें 49 साल पहले की हालत में पहुंचा दिया। संगठन ने अल्टीमेटम दिया है कि यदि न्यूनतम वेतन समेत तमाम मांगें नहीं मानी गईं तो सरकार राष्ट्रव्यापी हड़ताल के लिए तैयार रहे।
नेशनल जेसीए ने नया मांग पत्र 7वें वेतन आयोग की सिफारिशों का खुलासा होने के बाद तैयार किया है। संगठन के प्रतिनिधियों ने पिछले हफ्ते केबिनेट सचिव को यही मांग पत्र थमाया। मांग पत्र में जिक्र है कि सरकार यह याद रखे कि दूसरे वेतन आयोग ने भी 14.2 फीसदी इजाफा किया था। तब केंद्रीय कर्मचारियों ने देशभर में पांच दिन हड़ताल कर काम काज ठप कर दिया था। संगठन के स्टेट को-ऑर्डिनेटर यशवंत पुरोहित का कहना है कि पहले के सभी आयोगों ने वेतन में इजाफा किया। सातवें आयोग ने इसे कम कर दिया। हम इसका विरोध कर रहे हैं।
केलकुलेशन में एक्रायड फार्मूले को ही नहीं माना
नेशनल जेसीए का तर्क है कि 7वें वेतन आयोग ने वेतन निर्धारण ही सही नहीं किया। इसके लिए डा एक्रायड के फार्मूला को ही नहीं माना। हमारी मांग है कि 1 जुलाई 2015 को उपभोक्ता वस्तुओं की कीमतों के आधार पर न्यूनतम मजदूरी की पुनर्गणना की जाए। आवासीय, सामाजिक दायित्वों और बच्चों की शिक्षा जैसे पहलुओं को एक्रायड फार्मूले के तहत फीसदी के आधार पर तय किया जाए। छह महीने पहले आयोग के साथ हुई बैठक में हमने आपत्ति जाहिर कर दी थी।
किस आयोग ने कितने %इजाफा किया
- आयोग फीसदी बढ़ोतरी रु. में
- दूसरा 14.2 76 से 85
- तीसरा 20.6 163 से 196
- चौथा 27.6 595 से 750
- पांचवां 31.0 1946 से 2550
- छठवां 54.0 4545 से 7000
- सातवां 15750 से 18000
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macp म कौनसा नियम ह जीसमे जुनियर को 4200 or senior ko 2800gp mel rahi ha pse bathaey?